पाकिस्तान में भारतीय सेना की सटीक कार्रवाई ने हड़कंप मचा दिया है। 7 मई 2025 को तड़के 2 बजे भारतीय सशस्त्र बलों ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ शुरू किया। इस ऑपरेशन में पाकिस्तान और पाक-अधिकृत कश्मीर (PoK) में 9 आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया गया। यह कार्रवाई पहलगाम आतंकी हमले का जवाब थी। 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए इस हमले में 26 लोगों की जान गई थी। भारतीय सेना ने जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा जैसे आतंकी संगठनों के ठिकानों को तबाह कर दिया। इस हमले से पाकिस्तानी इतने घबरा गए कि वे गूगल पर ‘सिंदूर’ का मतलब खोजने लगे।
ऑपरेशन सिंदूर का नाम क्यों?
‘सिंदूर’ हिंदू संस्कृति में सुहाग की निशानी है। यह लाल रंग का पाउडर है, जिसे विवाहित महिलाएं अपनी मांग में लगाती हैं। पहलगाम हमले में आतंकियों ने हिंदू पर्यटकों को निशाना बनाया था। इस हमले ने भारत में गुस्सा भड़का दिया। भारतीय सेना ने इस कार्रवाई का नाम ‘सिंदूर’ इसलिए रखा, क्योंकि यह उन माताओं-बहनों के सम्मान का प्रतीक है, जिनका सुहाग आतंकियों ने छीना। सोशल मीडिया पर लोग कह रहे हैं, “पाकिस्तान ने हमारी बहनों का सिंदूर उजाड़ा, अब भारत ने ऑपरेशन सिंदूर से बदला लिया।”
कैसे हुआ ऑपरेशन?
ऑपरेशन सिंदूर में भारतीय वायुसेना, नौसेना और थलसेना ने मिलकर काम किया। यह 1971 के युद्ध के बाद पहला त्रि-सेवा ऑपरेशन था। हमले में स्कैल्प मिसाइलें और हैमर बम जैसे हथियारों का इस्तेमाल हुआ। ये हथियार इतने सटीक थे कि पाकिस्तान का हवाई रक्षा तंत्र नाकाम रहा। मुरिदके, बहावलपुर, कोटली और मुजफ्फराबाद जैसे इलाकों में आतंकी अड्डों को नष्ट किया गया। भारतीय सेना ने 1:44 बजे सुबह हमले शुरू किए। सभी हमले भारतीय सीमा से किए गए। कोई भी पाकिस्तानी सैन्य ठिकाना निशाना नहीं बना।
पाकिस्तान में हड़कंप
पाकिस्तान ने इस हमले को ‘युद्ध की कार्रवाई’ बताया। उसने दावा किया कि 8 नागरिक मारे गए और 46 घायल हुए। पाकिस्तानी सेना ने कहा कि उन्होंने 5 भारतीय लड़ाकू विमान मार गिराए। हालांकि, भारत ने इस दावे को खारिज किया। पाकिस्तान ने अपने प्रमुख हवाई अड्डों पर आपातकाल घोषित कर दिया। इस्लामाबाद, कराची और लाहौर जैसे शहरों में हाई अलर्ट जारी किया गया। कई अंतरराष्ट्रीय उड़ानें पाकिस्तानी हवाई क्षेत्र से बचने लगीं।
गूगल पर ‘सिंदूर’ की खोज
ऑपरेशन सिंदूर के बाद पाकिस्तानी नागरिक गूगल पर ‘सिंदूर’ का मतलब खोजने लगे। वे समझना चाहते थे कि आखिर यह ऑपरेशन क्यों ‘सिंदूर’ कहलाया। भारतीय सोशल मीडिया पर इस बात की खूब चर्चा हुई। एक यूजर ने लिखा, “पाकिस्तान को अब पता चलेगा कि सिंदूर सिर्फ रंग नहीं, हमारी संस्कृति की ताकत है।” कुछ ने इसे ‘हैप्पी दीवाली, पाकिस्तान’ कहकर मजे लिए।